उन दिनों में लुधियाना में था, हर दिन की तरह शाम को ऑफिस से निकला और ऑटो स्टैंड पर ऑटो का इंतज़ार
करने लगा | शाम को ऑफिस छूटने के वक्त डायरेक्ट
ऑटो मिलना थोडा मुश्किल ही होता था | खैर थोड़ी देर के मशक्कत के बाद एक ऑटो मिला, कुछ और लोग भी साथ में बैठे थे | ट्रेनिंग प्रोफेशन में होने के वजह से अक्सर शाम को फोन में कई
मिस्स्ड काल्स (जो ट्रेनिंग के दौरान पिक नहीं हो पाती
थी) होती थी जो मै ऑटो में बैठकर ही
निपटाने की कोशिश करता था | उस दिन भी यही सिलसिला चल रहा था, लगातार एक के बाद दूसरी काल्स करता जा रहा था ये सोचते हुए कि कहीं
कोई जरुरी काल न हो जो मैंने मिस कर दिया हो | इस उहापोह में ना जाने मैंने कब आधा रास्ता तय कर गया पता ही नहीं
चला |
तब तक साथ में बैठी सवारियां भी उतर चुकी थी | मै अकेला ही रह गया था, अपनी काल्स में मशगूल |
बाबूजी आप टिफिन कहाँ से मगाते हैं – रोड पर गाड़ियों के शोर के बीच बहुत ही साफ सुनाई दिये ये शब्द किसी
और के नहीं बल्कि उस ऑटो चालक के थे |
उसने फिर से पूछा सर आप अपना टिफिन कहाँ से मगातें हैं, लंच और डिनर रोज बाहर से तो करते नहीं होंगे – वो अपने सर के ऊपर लगे रियर शीशे में मेरी तरफ देखते हुए ये सवाल
दूसरी बार पूछ रहा था, उसके चेहरे पर आई हलकी सी मुस्कराहट के
साथ वो बहुत सहज दिख रहा था |
मुझे थोडा सा वक्त लगा था अपने रोज फ़ोन करने वाली आदत से निकलने में | मैंने उसी शीशे में देखा और पूछा
लेकिन तुम्हे ये कैसे पता कि
मै टिफिन का खाना खाता हूँ – मैंने उसको जवाब देने से पहले खुद उससे जवाब लेने की कोशिश की |
बहुत सिंपल है सर, इतनी देर से आप प्योर हिंदी में बात कर रहे हैं, बीच बीच में इंग्लिश भी बोल रहे हैं, पिछले बीस मिनट में आपने एक बार भी पंजाबी शब्द नहीं बोला, अब कोई लुधियाना का होता तो कम से कम कुछ पंजाबी तो जरुर बोलता न | पर ये हो सकता है कि आप खाना खुद बनाते होंगे लेकिन मैंने इसपर चांस
ही नहीं लिया और सीधे मुद्दे पर आ गया, ज्यादा से ज्यादा आप मना ही करेंगे |
मै एक सेल्स ट्रेनर होने के नाते रोज यही पढाता हूँ की बेचते कैसे
हैं, और मेरे साथ ही एक नया तजुर्बा जुड़ रहा
था | मन ही मन मैंने उसके स्किल्स की तारीफ़
की |
लेकिन भईया तुम तो ऑटो चलाते हो, फिर ये टिफिन का बिजिनेस कौन करता है – अगला सवाल फिर से उसके मतलब से नहीं बल्कि मेरे कौतुहलवश आया |
सर मै ही करता हूँ,सुबह सुबह खाना बना लेता हूँ और उसके बाद दोपहर में ऑटो से ही सर्विस
दे देता हूँ, कुछ ज्यादा कमाने के लिए कुछ भाग दौड़
तो करनी पड़ती है ना साहब, इतना ही नहीं मैंने अपना एक सैलून भी
डाल रखा है,सन्डे के दिन टिफिन और सवारी दोनों में
ही मंदी होती है तो सैलून पर बैठ जाता हूँ, बाल काटना भी आता है मुझे, कभी आइयेगा मेरे सैलून में टिफिन वाले कस्टमर्स को स्पेशल डिस्काउंट
देता हूँ मै |
वो एक ही साथ टिफिन और सैलून दोनों बड़ी बारीकी से प्रमोट कर गया था
मुझे |
अब हर शाम को ऑफिस के बाद आने वाली मेरे चेहरे की थकान जैसे मिटने
लगी थी, समझ में आ रहा था की थकान ऑफिस ख़तम होने
से नहीं बल्कि मानसिक थकावट से होती है |
सर बोलो तो कल मै आपको लंच का टिफिन देते जाऊं, आपका ऑफिस वही पास में ही होगा ना जहाँ से आप बैठे हैं?
ये उसके सेल्समैनशिप का दुसरा मास्टर स्ट्रोक था |
और अगर आपको पसंद आ गया तो शाम का टिफिन भी, उसने अपनी बात ख़तम करते हुए शीशे में फिर से बड़ी सहजता से देखा मुझे | नहीं भाई मैंने आलरेडी टिफिन लगवा रखा है, और काफी दिनों से डिनर वहीँ करता हूँ | मैंने उसकी बात काटते हुए मामला ही ख़तम कर दिया |
सर फिर आप रात का टिफिन वहीँ खाइए ना, कम से कम मुझसे दोपहर का खाना शुरू करवा लीजिये | कल मै आपको टिफिन दे जाता हूँ |
बस महज पांच मिनट और थे मुझे घर पहुचने में, और मै ऑटो में ही एक ऑटो ड्राइवर कम
सेल्स मैंन से सेल्स के गुर सीख रहा था |
चलो ठीक है, कल का टिफिन तुम देते जाना फिर, देखते है एक बार खाकर फिर सोचेंगे की आगे क्या करना है |
उसके चेहरे पर जीत की ख़ुशी साफ़ दिख रही थी, ठीक है साहब कल दोपहर में मिलते हैं, खैर आजतक जिसने भी मेरा टिफिन खाया है मेरा रेगुलर कस्टमर बन जाता है, भरोसा है कल के बाद आप भी मेरे रेगुलर कस्टमर में से एक होंगे |
उसका आत्मविश्वास बता रहा था कि उसके खाने का टेस्ट सच में अच्छा
होगा |
मै मुस्कराते हुए अपने घर में घुसते जैसे ही बेड पर गिरा और थकान का
एहसास हुआ, उसके मुस्कराते हुए चेहरे ने मुझे एक
बात याद दिला दी |
साहब सेल्समैन कभी थकता नहीं है |
Kya khoob sikha Gaye auto wale Bhaiya.
ReplyDeleteSales is truly an art, not a job. 👍
Wow! Absolutely Awesome. I am also a Sales Trainer though I am called Profit Engineer because we help Startups and Entrepreneurs to become More Profitable FASTER.
ReplyDeleteFantastic lesson